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Showing posts from May, 2022

श्रीचैतन्य महाप्रभु जी की शिक्षाओं का सार है ‘शिक्षाष्टक’!!!!!!! shastri bvn

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#Jay bhagvan श्रीचैतन्य महाप्रभु जी की शिक्षाओं का सार है ‘शिक्षाष्टक’!!!!!!! प्रकाण्ड विद्वान होते हुए भी श्रीचैतन्य महाप्रभु ने किसी ग्रंथ की रचना नहीं की । इनके मुख से आठ श्लोक ही निकले बताये जाते हैं, जो ‘शिक्षाष्टक’ के नाम से प्रसिद्ध हैं । जानें, शिक्षाष्टक (हिन्दी अर्थ सहित) । श्रीचैतन्य महाप्रभु जिन्हें कुछ लोग श्रीराधा का अवतार मानते हैं और बंगाल के वैष्णव साक्षात् पूर्णब्रह्म कहते हैं; वे भगवान श्रीकृष्ण के अनन्य भक्त थे । जिस समय ये श्रीकृष्ण के विरह में उन्मत्त होकर विलाप करते, उस समय पत्थर से पत्थर दिल भी पिघल जाता था । इनके जीवन का प्रधान उद्देश्य भगवान श्रीकृष्ण की भक्ति व नाम का प्रचार करना ही था। प्रकाण्ड विद्वान होते हुए भी श्रीचैतन्य महाप्रभु ने किसी ग्रंथ की रचना नहीं की । इनके मुख से आठ श्लोक ही निकले बताये जाते हैं, जो ‘शिक्षाष्टक’ के नाम से प्रसिद्ध हैं । वैष्णवों के लिए तो यह ‘शिक्षाष्टक’ कंठहार-स्वरूप है । शिक्षाष्टक (हिन्दी अर्थ सहित)!!!!!!! श्रीचैतन्य महाप्रभु की शिक्षाओं का सार आठ पदों में ‘शिक्षाष्टक’ में दिया गया है । शिक्षाष्टक संस...

वास्तु पुरुष का प्रादुर्भाव एवं पूजन विधि-

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वास्तु पुरुष का प्रादुर्भाव एवं पूजन विधि- वास्तु शास्त्र का परिचय एवं वास्तु पुरुष के प्रादुर्भाव के संबंध में जानकारी हमें प्राचीनतम ग्रंथों, वेदों और पुराणों में विस्तार से मिलती है।  ‘मत्स्य पुराण’, ‘भविष्य पुराण’ ‘स्कंद पुराण’ गरुड़ पुराण इत्यादि पुराणों का अध्ययन करने पर ज्ञात होता है कि ‘वास्तु’ के प्रादुर्भाव की कथा अत्यंत प्राचीन है।  इस लेख में कि वास्तु पुरूष का प्रादुर्भाव कैसे हुआ, क्यों उनकी पूजा की जानी चाहिए तथा उनकी पूजा की उपयुक्त विधि क्या है? मत्स्य पुराण के अनुसार मत्स्य रूपधारी भगवान विष्णु ने सर्वप्रथम मनु के समक्ष वास्तु शास्त्र को प्रकट किया था, तदनंतर उनके उसी उपदेश को सूत जी ने अन्य ऋषियों के समक्ष प्रकट किया।  इसके अतिरिक्त ‘भृगु’, वशिष्ठ, विश्वकर्मा, माय, नारद, नग्नजित, भगवान शिव, इंद्र, ब्रह्मा, कुमार, नंदीश्वर, शौनक, गर्ग, वासुदेव, अनिरुद्ध, शुक्र तथा बृहस्पति- ये अठारह वास्तु शास्त्र के उपदेष्टा माने गये हैं। ‘मत्स्य पुराण’ के अनुसार प्राचीन काल में भयंकर अंधकासुर वध के समय विकराल रूपधारी भगवान शंकर के ललाट से पृथ्वी पर उनके स्वे...

આપણે જાણીએ દર્ભ વિશે..

દર્ભ : દાભડો : દાભરો  આજે આપણે ભારતીય પરંપરામાં જે સૌથી વધુ વપરાતી વનસ્પતિ છે તેના વિષે જાણીશું. લગભગ બધા જ પ્રકારના ફૂલ, તુલસી, પીપળો, નાગરવેલ વગેરે વનસ્પતિનો આપણે પૂજામાં ઉપયોગ કરીએ છીએ પણ અહીં આપણે જે વનસ્પતિ વિષે વાત કરવાના છીએ તે બધાથી વધુ મહત્વ ધરાવે છે અને તે છે દર્ભ. ગુજરાતીમાં દર્ભ કે દાભડો, હિન્દીમાં કુશ, અંગ્રેજીમાં Desmostachya bipinnata કહે છે. આજે આ લેખમાં આપણે દર્ભના ધાર્મિક અને વૈજ્ઞાનિક ફાયદા જાણવાના છીએ ધર્મ શાસ્ત્રોમાં આ પ્રમાણે લખ્યું છે.. नस्य केशन प्रवपन्ति, नोरसी तडमाध्नते। અનુવાદ : દર્ભ ધારણ (આસન પર બેસવાથી) કરવાથી માથાના વાળ ખરતા નથી અને હાર્ટ એટેક આવતો નથી. દર્ભના ફાયદા જાણીને તમે વિશ્વાસ નહિ કરો એટલા ફાયદા અને એટલી આશ્ચર્યકારી વાતો છે. જે અપણા ઋષિમુનીઓ દ્વારા સિદ્ધ કરવામાં આવી છે. કેટલીક વાતો એવી છે. જે વર્તમાન સમયના વૈજ્ઞાનિકોને શોધ કરવા મજબુર કરી દીધા છે. આ વાતો આપણા ઋષિમુનીઓ એ આપણી પરંપરામાં વણી લીધી છે.  આ મામુલી અને સામાન્ય ગણાતી વનસ્પતિના અસામન્ય ફાયદા: દર્ભના આસન પર બેસવાથી અને દર્ભની ચટ્ટાઈ પર સુઈ જવાથી માથાના વાળ ખરતા નથી અને અકાળે વાળ સફેદ ...

આજનું પંચાંગ શાસ્ત્ર જ્ઞાન

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જય શ્રી કૃષ્ણ જય ભગવાન હર હર મહાદેવ  જય માતાજી.  જય હનુમાન દાદા શ્રી કૃષ્ણાશ્રમ અગ્નિહોત્ર આશ્રમ બોલુંદરા. આજનું પંચાંગ *🌞 🚩 । l ॐ l । 🚩 🌞* 🕉 ।। *श्री गणेशाय नमः* ।। 🕉  *सुप्रभातम् स्नेह वंदनम्*   🌐 *आज का पंचांग* 🌐  ⛳ *तिथि*....१३ (त्रयोदशी) 🙏 शिवरात्रि 🙏 🍁 सावित्री चतुर्दशी ( बंगाल ) 🍁 2️⃣8️⃣-0️⃣5️⃣-2⃣0⃣2⃣2️⃣ 🔔 *वार*.....शनिवार 🦚 *नक्षत्र*....भरणी 🪔 *योग*.....शोभन 🍁 *करण*.....वणिज 🌅 *सूर्योदय* :- ५:५६ 🌌 *सूर्यास्त* :- ७:१७ 🌓 *पक्ष*........कृष्ण 🌝 *चन्द्र राशि*.....मेष ☂️ *ऋतु*.........ग्रीष्म 💮 *मास*..... *गुजरात - महाराष्ट्र में वैशाख अन्यत्र ज्येष्ठ* 🌍 *कलियुगाब्द*......५१२४ 🌎 *विक्रम संवत्*.....२०७८ 🌏 *शक संवत्*...... १९४४ 🌹 *अभिजीत मुहूर्त*.....१२:०८ से १३:०३ 🌚 *राहुकाल*....०९:११ से १०:५३ तक ( शुभ कार्य वर्जित ) 🌻 *।। आपका दिन मंगलमय हो ।।* 🌻         🙏 ● *जय श्री कृष्ण* ● 🙏 આજના દર્શન જય મા અન્નપૂર્ણા  સુવિચાર.  પરિસ્થતિ ને એવી ના થવા દો કે તમે હિંમત હારી જાવ… પરંતુ હ...

રાશિ ફળ.અપરા એકાદશી.૨૬/૦૫/૨૨

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*🌞 🚩 । l ॐ l । 🚩 🌞* 🕉 ।। *श्री गणेशाय नमः* ।। 🕉  *सुप्रभातम् स्नेह वंदनम्*   🌐 *आज का पंचांग* 🌐  ⛳ *तिथि*....११ (एकादशी) 🕉️ अपरा एकादशी व्रत 🕉️( काकडी ) 🙏 भद्रकाली एकादशी ( पंजाब ) 🙏 💐 जलक्रीडा एकादशी ( उड़ीसा ) 💐 🅿️ पञ्चक 🅿️समाप्त रात्रि १२ः३९ 2️⃣6️⃣-0️⃣5️⃣-2⃣0⃣2⃣2️⃣ 🔔 *वार*.....गुरुवार 🦚 *नक्षत्र*....रेवती 🪔 *योग*.....आयुष्मान 🍁 *करण*.....बालव 🌅 *सूर्योदय* :- ५:५७ 🌌 *सूर्यास्त* :- ७:१६ 🌓 *पक्ष*........कृष्ण 🌝 *चन्द्र राशि*.....मीन/ रात्रि १२ः३९ मेष 🌝 ☂️ *ऋतु*.........ग्रीष्म 💮 *मास*..... *गुजरात - महाराष्ट्र में वैशाख अन्यत्र ज्येष्ठ* 🌍 *कलियुगाब्द*......५१२४ 🌎 *विक्रम संवत्*.....२०७८ 🌏 *शक संवत्*...... १९४४ 🌹 *अभिजीत मुहूर्त*.....१२:०८ से १३:०२ 🌚 *राहुकाल*....१४:१७ से १५:५९ तक ( शुभ कार्य वर्जित ) 🌻 *।। आपका दिन मंगलमय हो ।।* 🌻         🙏 ● *जय श्री कृष्ण* ● 🙏 * दैनिक यति राशिफल * *आज दिनांक 26 मई 2022 गुरुवार- ज्येष्ठ मास कृष्ण पक्ष की एकादशी तिथि दिन मे 10-54 बजे तक रहेगा फिर द्वादशी तिथि शुरू होगी- गंडमूल र...

બ્રહ્મ સમાજ .

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ગઈ કાલે સવારે ભાવનગર માં આવેલ ઘોઘા સર્કલ ખાતે ના વૃદ્ધાશ્રમ માં રહેતા ધીરૂભાઇ રેવાશંકરભાઈ કનાડા ઉ.વ. ૯૫. જેઓ સવારે ગુમ થયેલ હોઈ જેનું બ્રહ્મસમાજ તેમજ અન્ય સમાજ ના ગ્રુપ દ્વારા મેસેજ અને ફોટો ફરતો હોઈ જેની માહિતી દેવાંગ ભાઈ જોશી અને આશુતોષભાઈ ભુદેવ ને જુના બંદર ખાતે થી મળી આવેલ જેની જાણ બ્રહ્મસમાજ ના અગ્રણી કાર્તિકભાઈ મહેતા ને કરતા જેઓએ વિજયભાઈ જાની અને જતીનભાઈ કનાડા ને જાણ કરી આ વડીલ વૃધ્ધ ને જુના બંદરેથી લઈ અને વૃદ્ધા આશ્રમ ખાતે મુકવા ગયેલ જ્યાંથી એમના કુટુંબી ભત્રીજા પ્રફુલભાઈ કનાડા એ પોતાના ઘરે લઈ જવાની તૈયારી દર્શાવતા અત્રે ના એમના નિવાસ સ્થાને શિવનગર કાચ ના મંદિર પાસે એમના ઘરે દાદા ને મુકવામાં આવેલ છે.*                                 *નોંધ* : *બ્રહ્મસમાજ ના દરેક ગ્રુપના જે કોઈ વહાટ્સઅપ કે ફોન દ્વારા દાદા ને પરિવાર સુધી પહોંચાડવા મદદ કરવા બદલ સર્વો નો આભાર તેમજ હવે કોઈ આ દાદા ના ફોટા તેમજ મેસેજ વાયરલ ના કરવા વિનંતી*

पंचांग

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*🌞 🚩 । l ॐ l । 🚩 🌞* 🕉 ।। *श्री गणेशाय नमः* ।। 🕉  *सुप्रभातम् स्नेह वंदनम्*   🌐 *आज का पंचांग* 🌐  ⛳ *तिथि*....७ (सप्तमी) 🌞 भानुसप्तमी 🌞 🌷 कालाष्टमी 🌷 🅿️ पञ्चक प्रारम्भ प्रातः ११:१३ से 🅿️ 2️⃣2️⃣-0️⃣5️⃣-2⃣0⃣2⃣2️⃣ 🔔 *वार*.....रविवार 🦚 *नक्षत्र*....धनिष्ठा 🪔 *योग*.....ऐन्द्र 🍁 *करण*.....बव 🌅 *सूर्योदय* :- ५:५८ 🌌 *सूर्यास्त* :- ७:१५ 🌓 *पक्ष*........कृष्ण 🌝 *चन्द्र राशि*.....मकर/ दोपहर ११ः१३ से कुंभ 🌝 ☂️ *ऋतु*.........ग्रीष्म 💮 *मास*..... *गुजरात - महाराष्ट्र में वैशाख अन्यत्र ज्येष्ठ* 🌍 *कलियुगाब्द*......५१२४ 🌎 *विक्रम संवत्*.....२०७८ 🌏 *शक संवत्*...... १९४४ 🌹 *अभिजीत मुहूर्त*.....१२:०८ से १३:०२ 🌚 *राहुकाल*....१७:४० से १९:२१ तक ( शुभ कार्य वर्जित ) 🌻 *।। आपका दिन मंगलमय हो ।।* 🌻         🙏 ● *जय श्री कृष्ण* ● 🙏 जय हिमजा माता।। परमहंस श्री राम कृष्ण और माँ शारदा का दुर्लभ चित्र.🚩🕉️🚩 यथा खनन् खनित्रेण नरो वार्यधिगच्छति । तथा गुरुगतं विद्यां शुश्रूषुरधिगच्छति ।। भूमिमे प्रहार से गड्डा करनेवाले को ...

ब्राह्मण परंपरा।

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ब्राह्मण -परम्परा 〰〰🌼〰〰 ​एक कुलीन ब्राह्मण को अपनी कुल परम्परा का सम्पूर्ण परिचय निम्न  11 (एकादश) बिन्दुओं के माध्यम से ज्ञात होना चाहिए - 1👉  गोत्र। 2👉  प्रवर। 3👉  वेद। 4👉  उपवेद। 5👉  शाखा। 6👉  सूत्र। 7👉  छन्द। 8👉  शिखा। 9👉  पाद। 10👉 देवता। 11👉  द्वार। ​ 1 गोत्र👉  गोत्र का अर्थ है कि वह कौन से ऋषिकुल का है या उसका जन्म किस ऋषिकुल से सम्बन्धित है । किसी व्यक्ति की वंश-परम्परा जहां से प्रारम्भ होती है, उस वंश का गोत्र भी वहीं से प्रचलित होता गया है। हम सभी जानते हें की हम किसी न किसी ऋषि की ही संतान है, इस प्रकार से जो जिस ऋषि से प्रारम्भ हुआ वह उस ऋषि का वंशज कहा गया । इन गोत्रों के मूल ऋषि – विश्वामित्र, जमदग्नि, भारद्वाज, गौतम, अत्रि, वशिष्ठ, कश्यप- इन सप्तऋषियों और आठवें ऋषि अगस्त्य की संतान गोत्र कहलाती है। यानी जिस व्यक्ति का गौत्र भारद्वाज है, उसके पूर्वज ऋषि भारद्वाज थे और वह व्यक्ति इस ऋषि का वंशज है। इन गोत्रों के अनुसार इकाई को "गण" नाम दिया गया, यह माना गया की एक गण का व्यक्ति अपने गण में विवाह न कर अन्...

सिद्धों के दर्शन एवं अनुदान।। शास्त्री जी भावनगर।।

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सिद्धों के दर्शन व अनुदान सिद्ध सूक्ष्म शरीर धारी होते हैं। स्थूल शरीर की एक सीमा मर्यादा है। भारत की जलवायु में सौ वर्ष की आयु को पूर्ण माना गया है। “जीवेम शरदः शतम्” आदि वेद मन्त्रों में इसी तथ्य का रहस्योद्घाटन किया गया है। आशीर्वादों में सौ वर्ष तक जीवित रहने की कामना की जाती है। कभी-कभी कहीं-कहीं कुछ लोग अधिक समय भी जीवित रहते देखे गये हैं। पर वे अपवाद हैं। अपवाद तो किसी भी क्षेत्र में दृष्टिगोचर हो सकते हैं। सिद्ध बहुधा हिमालय क्षेत्र में निवास करते हैं। जहाँ शीत की प्रधानता होती है। उस क्षेत्र का अधिकांश भाग बर्फ से ढका रहता है। जो हिमि प्रदेश के जीव-जन्तु हैं, वो तो गुफाओं में जाकर गहरी निद्रा में सो जाते हैं और जब बसन्त आता है और आहार तथा जल की व्यवस्था हो जाती है तो नींद खुलती है और बाहर निकलते हैं। यह हिमानी प्राणियों के लिए प्रकृति की विशेष व्यवस्था है। मनुष्य शरीर की संरचना ऐसी नहीं है। उसे अन्न जल ही नहीं आग जलाने के लिए ईंधन की भी व्यवस्था करनी पड़ती है। इसके अतिरिक्त मल-मूत्र त्यागने एवं आच्छादन की भी। वह सामान्यतया बन नहीं पाता। इसलिए बद्रीनाथ, केदारनाथ, गंगोत्री, जमुन...

माता धूमावती साधना।

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माता धूमावती मंत्र:-  धूं धूं धूमावती मसान में रहती मरघट जगाती सूप छानती  जोगनियों के संग नाचती डाकनियों के संग माँस खाती  मेरे बैरी का भी तू माँस खाय कलेजा खाए लहू पीये  प्यास बुझाय मेरे बैरी को तड़पा तड़पा मार ना मारे तो दुहाई माता पार्वती की दुहाई महादेव की| धूमावती देवी का स्वरुप बड़ा मलिन और भयंकर प्रतीत होता है.धूमावती देवी का स्वरूप विधवा का है तथा कौवा इनका वाहन है,वह श्वेत वस्त्र धारण किए हुए, खुले केश रुप में होती हैं. देवी का स्वरूप चाहे जितना उग्र क्यों न हो वह संतान के लिए कल्याणकारी ही होता है. मां धूमावती के दर्शन से अभीष्ट फल की प्राप्ति होती है.पापियों को दण्डित करने के लिए इनका अवतरण हुआ.नष्ट व संहार करने की सभी क्षमताएं देवी में निहीत हैं.देवी नक्षत्र ज्येष्ठा नक्षत्र है इस कारण इन्हें ज्येष्ठा भी कहा जाता है.ऋषि दुर्वासा, भृगु, परशुराम आदि की मूल शक्ति धूमावती हैं. सृष्टि कलह के देवी होने के कारण इनको कलहप्रिय भी कहा जाता है.चौमासा देवी का प्रमुख समय होता है जब देवी का पूजा पाठ किया जाता है.माँ धूमावती जी का रूप अत्यंत भयंकर हैं इन्होंने...

Jay shree Krishna। Jay hanuman।

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*🌞 🚩 । l ॐ l । 🚩 🌞* 🕉 ।। *श्री गणेशाय नमः* ।। 🕉  *सुप्रभातम् स्नेह वंदनम्*   🌐 *आज का पंचांग* 🌐  ⛳ *तिथि*....१३ (त्रयोदशी) 🕉️ श्री नृसिंह जयन्ती 🕉️ 🌷 छिन्नमस्ता जयन्ती 🌷 🌹 गुरु अमरदास जयन्ती 🌹 🍀 बुध पश्चिमास्त 🍀 1️⃣4️⃣-0️⃣5️⃣-2⃣0⃣2⃣2️⃣ 🔔 *वार*.....शनिवार 🦚 *नक्षत्र*....चित्रा 🪔 *योग*.....सिद्धि 🍁 *करण*.....तैतिल 🌅 *सूर्योदय* :- ६ः०१ 🌌 *सूर्यास्त* :- ७:११ 🌓 *पक्ष*........शुक्ल 🌝 *चन्द्र राशि*.....कन्या/प्रातः ६ः१३ से तुला 🌝 ☂️ *ऋतु*.........ग्रीष्म 💮 *मास*..... *वैशाख* 🌍 *कलियुगाब्द*......५१२४ 🌎 *विक्रम संवत्*.....२०७८ 🌏 *शक संवत्*...... १९४४ 🌹 *अभिजीत मुहूर्त*.....१२:०८ से १३:०१ 🌚 *राहुकाल*....०९:१३ से १०:५४ तक ( शुभ कार्य वर्जित ) 🌻 *।। आपका दिन मंगलमय हो ।।* 🌻         🙏 ● *जय श्री कृष्ण* ● 🙏 Sanskrit shloka। *पत्रं पुष्पं फलं तोयं* *यो मे भक्त्या प्रयच्छति।* *तदहं भक्त्युपहृतम्* *अश्नामि प्रयतात्मनः॥* * पत्र, पुष्प, फल, जल इत्यादि जो कोई भक्त शुद्ध चित्त से मेरे लिए अर्पित करता है, मैं वह पदार्थ ग्...

महा दारिद्र्य नाशक कृतिका नक्षत्र युक्त सोमवार

*महादारिद्रय नाशक कृत्तिका नक्षत्र युक्त सोमवार....* *02 मे 2022 को वैशाख  मास का कृत्तिका नक्षत्र युक्त सोमवार है।* शिवपुराण विश्वेश्वरसंहिता अध्याय 16 के अनुसार... कृत्तिकासोमवारेषु शिवस्य यजनं नृणाम् ॥ महादारिद्र्यशमनं सर्वसंपत्करं भवेत् ॥ गृहक्षेत्रादिदानाच्च गृहोपकरणादिना ॥ कृत्तिका नक्षत्र से युक्त सोमवारों को किया हुआ शिवजी का पूजन मनुष्यों के महादारिद्र को मिटाने वाला और संपूर्ण संपत्तियों को देने वाला हैं। घर की आवश्यक सामग्रियों के साथ गृह और क्षेत्र आदि का दान करने से भी उक्त फल की प्राप्ति होती है। लिङ्गपुराण के अनुसार चंद्र की उत्पत्ति कृत्तिका में ही हुई थी अतः इसको चंद्र का जन्म नक्षत्र माना जाता है।  “ शीतरश्मिः समुत्पन्नः कृत्तिकासु निशाकरः ” शिवपुराण, विश्वेश्वरसंहिता में सोम (चन्द्र) को संपत्तियों का दाता कहा है. “ आरोग्यं संपदश्चैव व्याधीनां शांतिरेव च ” कालपुरुष की कुंडली में चंद्र चतुर्थ भाव के स्वामी होकर द्वितीय भाव में (अपने से ग्यारहवें) उच्च के होते हैं। इसका अर्थ है सम्पत्ति के लिए परम आवश्यक है प्राप्ति, लाभ, सिद्धि, पूर्णता।  हमारे शास्त्रों ...

૧૨/૦૫/૨૨ ગુરુવાર મોહિની એકાદશી.🙏ॐ नमो भगवते वासुदेवाय। 🙏🙏

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પંચાંગ. *🌞 🚩 । l ॐ l ।  🚩 🌞* 🕉 ।। *श्री गणेशाय नमः* ।। 🕉   *सुप्रभातम् स्नेह वंदनम्*    🌐 *आज का पंचांग* 🌐  ⛳ *तिथि*....११ ( एकादशी )  🙏मोहिनी एकादशी ( गौदूध ) 🙏1️⃣2️⃣-0️⃣5️⃣-2⃣0⃣2⃣2️⃣ 🔔 *वार*.....गुरुवार  🦚 *नक्षत्र*....उत्तरा फाल्गुनी  🪔 *योग*.....हर्षण 🍁 *करण*.....वणिज 🌅 *सूर्योदय* :- ६ः०२ 🌌 *सूर्यास्त* :-  ७:१० 🌓 *पक्ष*........शुक्ल 🌝 *चन्द्र राशि*.....कन्या 🌝 ☂️ *ऋतु*.........ग्रीष्म 💮 *मास*..... *वैशाख* 🌍 *कलियुगाब्द*......५१२४ 🌎 *विक्रम संवत्*.....२०७८ 🌏 *शक संवत्*...... १९४४ 🌹 *अभिजीत मुहूर्त*.....१२ः१० से १ः०३ तक 🌚 *राहुकाल*....१४ः१४ से १५ः५३ तक ( शुभ कार्य वर्जित ) 🌻 *।। आपका दिन मंगलमय हो ।।* 🌻         🙏 ● *जय श्री कृष्ण* ● 🙏 12-5-2022 गुरुवार मोहिनी एकादशी 🙏🙏व्रत कथा🙏🙏धार्मिक ग्रंथों में मोहिनी एकादशी की तिथि अत्यंत शुद्ध तथा पवित्र मानी गई है। इस एकादशी के दिन व्रत-उपवास रखने से यह पूरे वैशाख मास के दान का पुण्य देती है। यहां पढ़ें पौराणिक एवं प्रामाणिक व्रत ...

Jay shree Krishna

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પંચાંગ . *🌞 🚩 । l ॐ l ।  🚩 🌞* 🕉 ।। *श्री गणेशाय नमः* ।। 🕉   *सुप्रभातम् स्नेह वंदनम्*    🌐 *आज का पंचांग* 🌐  ⛳ *तिथि*....१० (दशमी) 🌹 महावीर स्वामी केवल्य ज्ञान 🌹 🌞 सूर्य कृत्तिका में सायं ६ः३७ से 🌞1️⃣1️⃣-0️⃣5️⃣-2⃣0⃣2⃣2️⃣ 🔔 *वार*.....बुधवार 🦚 *नक्षत्र*....पूर्वाफाल्गुनी 🪔 *योग*.....व्याघात 🍁 *करण*.....तैतिल 🌅 *सूर्योदय* :- ६ः०२ 🌌 *सूर्यास्त* :-  ७:०९ 🌓 *पक्ष*........शुक्ल 🌝 *चन्द्र राशि*.....सिंह/रात्रि १ः३३ से कन्या 🌝 ☂️ *ऋतु*.........ग्रीष्म 💮 *मास*..... *वैशाख* 🌍 *कलियुगाब्द*......५१२४ 🌎 *विक्रम संवत्*.....२०७८ 🌏 *शक संवत्*...... १९४४ 🌹 *अभिजीत मुहूर्त*.....नहीं 🌚 *राहुकाल*....१२:३५ से १४:१५ तक ( शुभ कार्य वर्जित ) 🌻 *।। आपका दिन मंगलमय हो ।।* 🌻         🙏 ● *जय श्री कृष्ण* ● 🙏 સંસ્કૃત શ્લોક. अप्यब्धिपानान्महत: सुमेरून्मूलनादपि । अपि वहन्यशनात् साधो विषमश्चित्तनिग्रह: ॥ अपने स्वयं के मन का स्वामी होना यह संपूर्ण सागर के जल को पिना, मेरू पर्वत को उखाडना या फिर अग्निको खाना ऐसे असंभव बातों से भी कठिन ...

शनि देव की जय।

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Jay ambe Panchang. *दैनिक यति राशिफल* *आज दिनांक 7 मई 2022 शनिवार- वैशाख मास शुक्ल पक्ष की षष्ठी तिथि दोपहर 2-56 बजे तक रहेगी फिर सप्तमी तिथि शुरू होगी- पुनरवसु नक्षत्र दोपहर 12-18 बजे तक रहेगा फिर पुष्य नक्षत्र शुरू होगा- शुल योग शाम 7-59 बजे तक रहेगा फिर गंड योग शुरू होगा- तैतिल करण दोपहर 2-56 बजे तक रेहगा फिर गर करण शुरू होगा- चंद्रमा दिनरात कर्क राशि मे गोचर करता रहेगा- आज का राहुकाल सुबह 9-16 बजे से 10-55 बजे तक रहेगा- आज शनिवार को पूर्व दिशा मे दिशशुल रहता है- आज अभिजीत मुहर्त दोपहर 12-08 बजे से 1-01 बजे तक रहेगा- रवियोग सुबह सूर्योदय से द्पहर 12-18 बजे तक रहेगा- आज सूर्योदय सुबह 5-56 बजे होगा- ओर सूर्यास्त शाम 7-13 बजे होगा* *ज्योतिषाचार्य- यतिवर्य कुमार विजय* *मेष* आपके लिए आज का दिन ठीक रहेगा | सभी काम आसानी से बना लेंगे और अगर कोई बड़ा सौदा करना हो तो भी आज कर सकते है | आज सिर्फ अपनी वाणी पर कंट्रोल रखे नहीं तो अपमानित होना पड़ सकता है | सुख सुविधा में बढ़ोतरी होगी | *वृषभ* आपके लिए आज का दिन शानदार है कुछ समय के लिए जरुर चिंता का वातावरण सर्जित हो सकता है लेकिन जल्द...

shri gurubhyo namh,vastuyagna ,

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*🌞 🚩 । l ॐ l ।  🚩 🌞* 🕉 ।। *श्री गणेशाय नमः* ।। 🕉   *सुप्रभातम् स्नेह वंदनम्*    🌐 *आज का पंचांग* 🌐  ⛳ *तिथि*....४ (चतुर्थी) 0️⃣5️⃣-0️⃣5️⃣-2⃣0⃣2⃣2️⃣ 🔔 *वार*.....गुरुवार 🦚 *नक्षत्र*....मृगशिरा 🪔 *योग*.....सुकर्मा 🍁 *करण*.....विष्टि 🌅 *सूर्योदय* :- ६:०६ 🌌 *सूर्यास्त* :-  ७:०७ 🌓 *पक्ष*........शुक्ल 🌝 *चन्द्र राशि*.....मिथुन ☂️ *ऋतु*.........ग्रीष्म 💮 *मास*..... *वैशाख* 🌍 *कलियुगाब्द*......५१२४ 🌎 *विक्रम संवत्*.....२०७८ 🌏 *शक संवत्*...... १९४४ 🌹 *अभिजीत मुहूर्त*.....१२:०८ से १३:०१ 🌚 *राहुकाल*....१४:१४ से १५:५३ तक ( शुभ कार्य वर्जित ) 🌻 *।। आपका दिन मंगलमय हो ।।* 🌻         🙏 ● *जय श्री कृष्ण* ● 🙏 Yagnakarma. tulsi ke upay instagram

shiv maha sambhu।। #shashtrijiBhavnagar

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*🌞 🚩 । l ॐ l ।  🚩 🌞* 🕉 ।। *श्री गणेशाय नमः* ।। 🕉   *सुप्रभातम् स्नेह वंदनम्*    🌐 *आज का पंचांग* 🌐  ⛳ *तिथि*....३ (तृतीया) 🕉️ विनायक चतुर्थी 🕉️ 0️⃣4️⃣-0️⃣5️⃣-2⃣0⃣2⃣2️⃣ 🔔 *वार*.....बुधवार 🦚 *नक्षत्र*....मृगशिरा 🪔 *योग*.....अतिगण्ड 🍁 *करण*.....गर 🌅 *सूर्योदय* :- ६:०६ 🌌 *सूर्यास्त* :-  ७:०६ 🌓 *पक्ष*........शुक्ल 🌝 *चन्द्र राशि*.....वृषभ/सायं ४ः४६ से मिथुन 🌝 ☂️ *ऋतु*.........ग्रीष्म 💮 *मास*..... *वैशाख* 🌍 *कलियुगाब्द*......५१२४ 🌎 *विक्रम संवत्*.....२०७८ 🌏 *शक संवत्*...... १९४४ 🌹 *अभिजीत मुहूर्त*.....नहीं 🌚 *राहुकाल*....१२:३५ से १४:१४ तक ( शुभ कार्य वर्जित ) 🌻 *।। आपका दिन मंगलमय हो ।।* 🌻         🙏 ● *जय श्री कृष्ण* ● 🙏 संस्कृत श्लोका।। एका चण्ड्या रवे: सप्त तिस्र: कार्या विनायके। हरेश्चतस्र: कर्तव्या: शिवस्यार्धप्रदक्षिणा ।। दुर्गाजी की एक, सूर्य की सात, गणेशजी की तीन, विष्णु भगवान की चार एवं शिवजी की आधी प्रदक्षिणा करनी चाहिए।🙏🙏 आज ...